शाजी थामस

गेवरा, 16 जुलाई 2025 — एसईसीएल गेवरा क्षेत्र के प्रमुख श्रमिक संगठन इंटक (भारतीय राष्ट्रीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस) में अध्यक्ष पद को लेकर विवाद गहराता जा रहा है। वर्तमान अध्यक्ष देंमत कुमार मिश्रा और पूर्व अध्यक्ष गोपाल यादव के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर तेज हो गया है।

वर्तमान अध्यक्ष देंमत कुमार मिश्रा का कहना है कि पूर्व अध्यक्ष गोपाल यादव को संगठन विरोधी गतिविधियों और अनुशासनहीनता के चलते इंटक से निष्कासित कर दिया गया है। मिश्रा ने आरोप लगाया कि यादव ने संगठन के अनुशासन को ताक पर रखकर कार्य किए, जिससे संगठन की छवि को नुकसान पहुँचा।

दूसरी ओर, पूर्व अध्यक्ष गोपाल यादव ने कहा सारे आरोप बेबुनियाद हैं और इस निष्कासन के दावे को पूरी तरह खारिज करते हुए कहा कि उन्हें किसी प्रकार का निष्कासन पत्र प्राप्त नहीं हुआ है। यादव ने दावा किया कि उन्होंने पहले ही इंटक की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था और अब वे श्रमिक संगठन एटक में शामिल हो चुके हैं। यादव ने यह भी बताया कि उनका इस्तीफा केंद्रीय अध्यक्ष गोपाल नारायण यादव को व्हाट्सएप के माध्यम से भेजा गया था, इसलिए वर्तमान अध्यक्ष द्वारा निष्कासन की बात निराधार और बेबुनियाद है।

ज्ञात हो कि पिछले पांच वर्षों तक गोपाल यादव गेवरा इंटक के अध्यक्ष रहे हैं। वहीं, आठ जून 2025 को हुए मनोनयन में देंमत कुमार मिश्रा को अध्यक्ष और जीवराखन चंद्रा को महासचिव चुना गया।

इस विवाद में एक ओर गोपाल यादव का आरोप है कि उन्हें संगठन से साजिशन हटाया गया, तो दूसरी ओर वर्तमान अध्यक्ष मिश्रा का कहना है कि यादव ने संगठन विरोधी कार्यों में लिप्त होकर संगठन की मर्यादा को आहत किया।

इंटक गेवरा में चल रहे इस नेतृत्व संघर्ष को लेकर श्रमिकों के बीच भी चर्चाओं का बाजार गर्म है। आने वाले दिनों में संगठन की आंतरिक राजनीति में और उबाल आने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता।

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